*_भारतीय नौसेना में शामिल होंगे INAS 335 हेलीकॉप्टर, उन्नत हथियारों से लैस, बढ़ेगी क्षमता_*

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*_भारतीय नौसेना में शामिल होंगे INAS 335 हेलीकॉप्टर, उन्नत हथियारों से लैस, बढ़ेगी क्षमता_*

नई दिल्ली: भारतीय नौसेना को 17 दिसंबर को अपना दूसरा MH 60R हेलीकॉप्टर स्क्वाड्रन, INAS 335 (Ospreys) मिलेगा. नौसेना प्रमुख एडमिरल दिनेश त्रिपाठी की मौजूदगी में गोवा स्थित आईएनएस हंसा में हेलीकॉप्टर की कमीशनिंग होगी. आधिकारिक बयान में कहा गया है कि यह अवसर भारतीय नौसेना के आधुनिकीकरण और क्षमता बढ़ाने की लगातार कोशिशों में अहम पल होगा.

बयान में कहा गया है कि उन्नत हथियारों, सेंसर और एवियोनिक्स प्रणाली से लैस यह हेलीकॉप्टर भारतीय नौसेना के लिए बहुमुखी और सक्षम संसाधन साबित होता है, जो पारंपरिक और असममित दोनों तरह के खतरों से निपटने के लिए उन्नत क्षमताएं प्रदान करता है. यह हेलीकॉप्टर नौसेना संचालन में पूरी तरह से एकीकृत हो चुका है और कई अवसरों पर अपनी उपयोगिता साबित कर चुका है. इस स्क्वाड्रन के शुरू होने से भारतीय नौसेना की समग्र विमानन क्षमताओं को काफी बढ़ावा मिलेगा.

इस बीच, भारतीय नौसेना 16 दिसंबर (मंगलवार) को कोच्चि में दक्षिणी नौसेना कमान के तहत स्वदेशी रूप से डिजाइन और निर्मित डाइविंग सपोर्ट क्राफ्ट (DSC) के पहले जहाज DSC A20 को कमीशन करने वाली है. वाइस एडमिरल समीर सक्सेना, फ्लैग ऑफिसर कमांडिंग-इन-चीफ (दक्षिणी नौसेना कमान) की मौजूदगी में जहाज को औपचारिक रूप से सेवा में शामिल किया जाएगा.

नौसेना के अनुसार, यह कार्यक्रम नौसेना की इन्वेंट्री में एक महत्वपूर्ण परिचालन परिसंपत्ति को जोड़ेगा, जिससे उसकी डाइविंग और पानी के नीचे सपोर्ट क्षमता बढ़ेगी.

DSC A20, कोलकाता की M/s टीटागढ़ रेल सिस्टम्स लिमिटेड (TRSL) द्वारा निर्मित किए जा रहे पांच डाइविंग सपोर्ट क्राफ्ट की सीरीज का मुख्य जहाज है.

रक्षा मंत्रालय के बयान के अनुसार, “तटीय जल में डाइविंग और पानी के अंदर कई तरह के मिशन के लिए खास तौर पर बनाया गया यह जहाज उन्नक और अत्याधुनिक डाइविंग सिस्टम से लैस है जो सुरक्षा और संचालन दक्षता के उच्च मानकों को पूरा करता है.”

कैटामारन हल (पतवार) फॉर्म वाला यह जहाज बेहतर स्थिरता, ज्यादा डेक एरिया और बेहतर समुद्री क्षमता विशेषताओं की सुविधा देती है, और इसका डिस्प्लेसमेंट लगभग 390 टन है.

DSC को इंडियन रजिस्टर ऑफ शिपिंग (IRS) के नेवल नियमों और विनियमों के अनुसार डिजाइन और बनाया गया है. DSC A20 का विशाखापट्टनम में नेवल साइंस एंड टेक्नोलॉजिकल लेबोरेटरी (NSTL) में बड़े पैमाने पर हाइड्रोडायनामिक विश्लेषण और मॉडल परीक्षण किया गया, जिससे बेहतरीन परफॉर्मेंस और विश्वसनीयता सुनिश्चित होती है.


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